जगदीश ज्ञान दाता: प्रार्थना (Jagadish Gyan Data: Prarthana)
जगदीश ज्ञान दाता, सुख मूल शोकहारी ।
भगवन् ! तुम्हीं सदा हो, निष्पक्ष न्यायकारी ॥
सब काल सर्व ज्ञाता, सविता पिता विधाता ।
सब में रमे हुए हो, विश्व के बिहारी ॥
कर दो बलिष्ठ आत्मा, घबरायें न दुःखों से ।
कठिनाइयों का जिससे, तर जायें सिन्धु भारी ॥
निश्चय दया करोगे, हम मांगते यही हैं ।
हमको मिले स्वयम् ही, उठने की शक्ति सारी ॥
जगदीश ज्ञान दाता, सुख मूल शोकहारी ।
भगवन् ! तुम्हीं सदा हो, निष्पक्ष न्यायकारी ॥
प्रभु को अगर भूलोगे बन्दे, बाद बहुत पछताओगे (Prabhu Ko Agar Bhuloge Bande Need Kahan Se Laoge)
लाल लंगोटे वाले वीर हनुमान है: भजन (Lal Langote Wale Veer Hanuman Hai)
भजन: हरि जी! मेरी लागी लगन मत तोडना.. (Hari Ji Meri Lagi Lagan Mat Todna)
कैलाश के निवासी नमो बार बार हूँ (Kailash Ke Nivasi Namo Bar Bar Hoon)
हे दयामय आप ही संसार के आधार हो। (Hey Dayamay Aap Hi Sansar Ke Adhar Ho)
अच्चुतम केशवं कृष्ण दामोदरं: भजन (Achyutam Keshavam Krishna Damodaram)
भजन: घर में पधारो गजानन जी! (Ghar Me Padharo Gajanan Ji)
मैं ढूँढता तुझे था: प्रार्थना (Mai Dhundta Tujhe Tha: Prarthana)
मेरी झोपड़ी के भाग, आज खुल जाएंगे: भजन (Meri Jhopdi Ke Bhag Aaj Khul Jayenge)
सौराष्ट्रे सोमनाथं - द्वादश ज्योतिर्लिंग: मंत्र (Saurashtre Somanathan - Dwadas Jyotirlingani)
मनमोहन कान्हा विनती करू दिन रेन: भजन (Manmohan Kanha Vinti Karu Din Rain)
नाग पंचमी पौराणिक कथा! (Nag Panchami Pauranik Katha)