बिजली बनाने के कोन कोन से तरीके है ?


बिजली कैसे बनाई जाती है? यह प्रश्न हर उस विद्यार्थी के मन में आता है, जो 10वीं या फिर 12वीं कक्षा की पढ़ाई कर रहा है, क्योंकि पढ़ाई के दरमियान ही विद्यार्थियों का मन नई नई चीजों को जानने के बारे में उत्सुक होता है और इसीलिए उनके मन में कभी न कभी यह ख्याल अवश्य आया होगा कि, बिजली कैसे बनती है अथवा बिजली बनाने का तरीका क्या है? तो आइए जानते हैं, बिजली का उत्पादन कैसे किया जाता है अथवा बिजली बनाने के तरीके कौन-कौन से हैं। 

1: पानी के द्वारा बिजली कैसे बनती है?
2: कोयले के द्वारा बिजली कैसे बनती है?
3: पवन चक्की के द्वारा बिजली कैसे बनती है?
4: डीजल के द्वारा बिजली कैसे बनती है?
5: सौर ऊर्जा के द्वारा बिजली कैसे बनाते है?
6: भूतापीय ऊर्जा से बिजली कैसे बनती है?

7: नेचुरल गैस पावर प्लांट से बिजली कैसे बनती है।
8: बायोगैस पॉवर प्लांट से बिजली कैसे बनती है?

 

1. पानी के द्वारा बिजली कैसे बनती है?

 

बिजली (electricity) बनाने के लिए बड़े पैमाने पे पानी का इस्तेमाल किया जाता है। पानी का इस्तेमाल करके बिजली का उत्पादन करने के लिए सबसे पहले किसी ऐसी नदी पर बांध किया जाता है, जहां पर पानी का बहाव अत्यंत तेज होता है। उस नदी पर बांध बनाकर पानी को संग्रहित किया जाता है, और इसके बाद संग्रहित पानी को काफी ऊंचाई से पाइप लाइन के द्वारा टरबाइन के ऊपर गिराया जाता है। इस प्रकार जो बिजली उत्पादित होती है, उसे इलेक्ट्रिसिटी वायर का इस्तेमाल करके अलग-अलग जगह पर पहुंचाया जाता है।

एस तरीके से बिजली बनाने में 24 घंटे ये प्रक्रिया चालू रहती है और  24 घंटे बिजली चालू रहती है।

 

2. कोयले के द्वारा बिजली कैसे बनती है?

 

बिजली बनाने के जो पहली पानी की प्रक्रिया देखि जो की कुछ ऐसी जगह होती है, जहां पर नदियों के ऊपर बांध का निर्माण नहीं संभव हो पाता है। ऐसी अवस्था में वहां पर पानी को कोयले की सहायता से पहले गर्म किया जाता है और उसमें से जो भाप निकलता है, उसे टरबाइन पर काफी तेजी से डाला जाता है, जिसके कारण बिजली उत्पन्न होती है।

इस प्रक्रिया में पानी को गर्म करने के लिए कोयले का इस्तेमाल किया जाता है और जब पानी गर्म हो जाता है, तो वह भाप में स्थलांतरित हो जाता है, जिसका तापमान तकरीबन 500 से लेकर 1000 डिग्री सेंटीग्रेड के आसपास तक होता है।

 

3. पवन चक्की के द्वारा बिजली कैसे बनती है?
 

पवन चक्की तो अपने देखि या उसके बारे सुना तो जरूर होगा, तो जलिये जानते है ऐसे कैसे बिजली उत्पन्न होती है। 
कुछ ऐसी जगह पर जहां पूरे साल काफी तेज हवा चलती है, वहां पर बिजली का निर्माण करने के लिए पवन चक्की का इस्तेमाल किया जाता है और पवन चक्की का इस्तेमाल करके ही बिजली का उत्पादन किया जाता है।

 मध्य प्रदेश के ग्रामीण तथा पहाड़ी इलाकों में कई जगह पर पवन चक्की बिजली बनाने के लिए स्थापित की गई है। पवन चक्की का रंग सफेद होता है और यह काफी लंबी होती है, जिसमें लोहे के बहुत ही भारी भरकम पंखे लगे हुए होते हैं और जब तेज हवा चलती है, तब यह पंखे अपने आप घूमने लगते हैं, और टरबाइन भी घूमने लगता है, जिसके कारण बिजली का उत्पादन होता है। यह बहुत ही कम खतरे वाली प्रक्रिया   है, जिसका इस्तेमाल बिजली बनाने के लिए किया जाता है

 

4. डीजल के द्वारा बिजली कैसे बनती है?

 

डीजल के द्वारा बिजली बनायीं जाती है, जैसे की हमने ऊपर देखा है, उसे DG (diesel  generator) कहा जाता है।  ऐसे इलाके में जहां पर काफी भारी मात्रा में बिजली की कटौती होती है, वहां पर बिजली का निर्माण करने के लिए डीजल इंजन का इस्तेमाल किया जाता है। इसे जनरेटर कहा जाता है।

इसके अंदर एक अलग से मोटर लगी हुई होती है और जब डीजल इंजन में डीजल डाल कर के इसे चालू किया जाता है, तो वह मोटर बिजली उत्पन्न करती है। इसमें जो बिजली उत्पन्न होती है, उसकी तीव्रता इस बात पर निर्भर होती है कि डीजल इंजन कितने हॉर्स पावर का है।

 डीजल इंजन जितने ज्यादा हॉर्सपावर का होगा, वह उतनी ही तेज इलेक्ट्रिसिटी पैदा करेगा। शादी और अन्य प्रकार के खास आयोजनों में आज भी ग्रामीण इलाकों में अक्सर डीजल इंजन का इस्तेमाल किया जाता है।


5. सौर ऊर्जा के द्वारा बिजली कैसे बनाते है?

 

सबसे आसान और  प्राकृतिक तारीख है, नाही किसीको हानि होती है, नहीं बिजली का बिल भरना पड़ता है,  ये सौर ऊर्जा के द्वारा बिजली बनाने के लिए सबसे पहले सोलर प्लेट को ऐसी जगह पर लगाया जाता है, जहां पर सूरज की किरणें सीधे तौर पर सोलर प्लेट पर पड़े। जब सूरज की किरणें सोलर प्लेट पर पड़ती है, तो जो बिजली पैदा होती है, वह एक बड़ी बैटरी में स्टोर होती है और उसी बैटरी के द्वारा कनेक्शन प्राप्त करके इस इलेक्ट्रिसिटी का इस्तेमाल किया जाता है।

भारत में अधिकतर सौर ऊर्जा का इस्तेमाल घरों में खाना बनाने के लिए, टीवी, पंखा चलाने के लिए किया जाता है। इसके अलावा सरकारी ऑफिस में भी सौर ऊर्जा का यूज़ काफी भारी मात्रा में वर्तमान के टाइम में किया जा रहा है।


6. भूतापीय ऊर्जा से बिजली कैसे बनती है?

भूतापीय उर्जा को जियो थर्मल पावर प्लांट भी कहा जाता है। इस प्रकार के बिजली बनाने के तरीके में जमीन के अंदर उपलब्ध ज्वालामुखी ऊर्जा से बिजली का उत्पादन किया जाता है।

 इसके लिए सबसे पहले तो उस जगह पर एक बहुत बड़ा गड्ढा खोदा जाता है, जिस जगह से ज्वालामुखी धरती से बाहर निकलता है और ज्वालामुखी जब बाहर निकलता है, तो उसकी ऊर्जा तीव्र होती है और उसका ही  इस्तेमाल करके बिजली बनाई जाती है।

 

7. नेचुरल गैस पावर प्लांट से बिजली कैसे बनती है?

 

कोयले को जलाकर के जिस प्रकार से उसे पानी में स्थलांतरित किया जाता है, ठीक उसी प्रकार नेचुरल गैस पावर प्लांट में पानी को गर्म करने के लिए नेचुरल गैस का सहारा लिया जाता है और नेचुरल गैस का इस्तेमाल करके पानी को गर्म किया जाता है और उसे भाप में स्थलांतरित किया जाता है।

इसके बाद इसके द्वारा टरबाइन को घुमाया जाता है और ऐसा करने से बिजली उत्पन्न होती है। ये नेचुरल गैस यानी की प्राकृतिक गैस जमीन के अंदर से निकाली जाती है।


8. बायोगैस पॉवर प्लांट से बिजली कैसे बनती है?

 

इस तरीके का इस्तेमाल करके बिजली बनाने के लिए सबसे पहले पानी को काफी तेज गर्म किया जाता है। इसके लिए बायोगैस का उपयोग  किया जाता है। बायोगैस खराब चीजों से बनती है जैसे कि पेड़ पौधों की पत्तियां गोबर इत्यादि। और ये गाओ में ज्यादा तर बड़ी मात्रा में पायी जाती है। 

 

तो यह कुछ मुख्य तरीके थे जिनका उपयोग कर बिजली उत्पादन किया जाता है। बिजली बनाने की प्रक्रिया आसान नहीं होती अतः इस कार्य को सावधानी पूर्वक किया जाता है। आशा करते है की आपको बिजली कैसे बनती है, कितने प्रकार से बनायीं जा सकती है ये सारा आपको इस लेख के माध्यम से पता चल गया होगा । आपको ये लेख अच्छा, informative लगा तो इसे अपने दोस्तों के जरूर भेज। ऐसेही अनगिनत, जानकारीपूर्ण लेख हमारे साथ पड़ने रहिये।